जयपुर एयरपोर्ट पर हर वक्त 10 लोगों का स्टाफ कर रहा जांच, एसएमएस में अब तक 113 नमूने जांचे; 2 पॉजिटिव मिले

चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा ने बुधवार को विधानसभा में राजस्थान में कोरोनावायरस पर जानकारी दी। उन्होंने बताया कि कोरोना वायरस हालांकि वैश्विक आपदा घोषित हो चुका है लेकिन प्रदेश के लोग इससे डरें नहीं। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग इसकी रोकथाम के लिए पूरी तरह सजग और चौकन्ना है। 


रघु शर्मा ने बताया कि 2 फरवरी से जयपुर के एसएमएस मेडिकल कॉलेज के माइक्रोबायोलोजी विभाग में जांच सुविधा प्रारंभ करवा दी थी। अब प्रदेश के सभी छह राजकीय मेडिकल कॉलेज के अलावा झालावाड़ मेडिकल कॉलेज में भी कोरोना की जांच की व्यवस्था शुरू कर दी है। उन्होंने बताया कि एसएमएस लैब में अब तक 113 नमूनों की जांच की गई। जांचे गए नमूनों में से 98 नेगेटिव और 1 पॉजिटिव पाया गया तथा 1 की प्रारम्भिक जांच में पॉजिटिव पाए जाने पर कन्फर्म जांच के लिए पुणे लैब में रक्त का नमूना भेजा गया है, जबकि 13 का परिणाम आना शेष है। 


एसएमएस में 30 बेड का आइसोलेशन वार्ड


चिकित्सा मंत्री ने बताया कि कोरोना वायरस के संदिग्ध रोगियों को उपचार करने के लिए जयपुर के एसएमएस अस्पताल में अलग से 30 बेड्स का आइसोलेशन वार्ड की सुविधा है। इसके अलावा सभी मेडिकल कॉलेजों व जिला अस्पतालों में आइसोलेशन बेड्स की सुविधा उपलब्ध करवाई जा रही है। 


जयपुर एयरपोर्ट पर 168 एयरक्रॉफ्ट के 24,832 यात्रियों की स्क्रीनिंग की गई


डॉ. शर्मा ने बताया कि कोरोना वायरस की रोकथाम व नियंत्रण और बचाव के लिए सांगानेर अन्तर्राष्ट्रीय एयरपोर्ट पर आने वाली सभी अन्तराष्ट्रीय उड़ानों में आए यात्रियों की स्क्रीनिंग 28 जनवरी से की जा रही है। एयरपोर्ट पर 5 चिकित्सक व 5 नर्सिंग स्टाफ का दल स्क्रीनिंग में जुटा है। उन्होंने बताया कि वर्तमान में सांगानेर एयरपोर्ट पर शारजाह, दुबई, क्वालालम्पुर, मस्कट, ओमान, थाईलैंड व बैंकाक देश से डायरेक्ट फ्लाइट आती है। उनकी भी नियमित स्क्रीनिंग की जा रही है।  चिकित्सा मंत्री ने बताया कि अब तक जयपुर एयरपोर्ट पर 168 एयरक्रॉफ्ट के 24,832 यात्रियों की स्क्रीनिंग की गई है, जिनमें से 77 यात्री प्रभावित देशों से आए हैं, इनमें से 9 लोगों को लक्षण पाए जाने पर जांच कराई गई जो नेगेटिव पाए गए। 


दुनियाभर में 3143 मृत्यु हो चुकी


उन्होंने बताया कि वर्तमान में विश्व में यह रोग लगभग 75 देशों में फैल चुका है। रोग का अत्यधिक प्रसार प्रथमतः चीन देश में हुआ है तथा वर्तमान में अब चीन के साथ-साथ ईरान, इटली, हांगकांग, सिंगापुर, दक्षिण कोरिया, जापान, वियतनाम, मलेशिया व नेपाल आदि में रोग फैल चुका है। उन्होंने बताया कि विश्व में अब तक 90,870 केसेज में 3143 मृत्यु हो चुकी है।


चिकित्सा मंत्री ने बताया कि कोरोना प्रभावित देशों से आने वाले यात्रियों मे लक्षण पाए जाने पर उन्हे आईसोलेशन वार्ड में भर्ती कर जांच, निगरानी व उपचार किया जा रहा है। अब तक कुल 89 यात्रियों को संबंधित जिलें के मेडिकल कॉलेज/जिला अस्पताल में जांच एवं उपचार के लिए भर्ती करवाया गया है, जिनमे से 67 को लक्षण होने एवं शेष को निर्देशानुसार चीन के अधिक प्रभावित क्षेत्र वुहान से आने के कारण एहतियात के तौर पर लक्षण नही होने पर भी भर्ती कर जांच किया गया। 


डॉ. रघु शर्मा ने बताया कि प्रदेश में कोरोना वायरस की रोकथाम व उपचार हेतु चिकित्सा संस्थानों पर पर्सनल प्रोटेक्टीव इक्यूपमेंट (पीपीई किट), एन-95 मास्क, ट्रिपल लेयर मास्क, पर्याप्त मात्र में उपलब्ध करवाए गए हैं। पर्सनल प्रोटेक्टीव इक्यूपमेंट (पीपीई) किट मंप मास्क, गाउन, कैप, ग्लवस, शू कवर, गोग्लस होते हैं। दो प्रकार के मास्क होते हैं ट्रिपल लेयर मास्क आमजन के उपयोग के लिए और दूसरा एन-95 रोगी व रोगी के उपचार करने वाले चिकित्सक अन्य मेडिकल स्टॉफ के उपयोग के लिए काम में आता है। 


इटली के पर्यटक दल के बारे में उन्होंने बताया कि श्री एन्ड्री कॉरली, पुरूष, उम्र 69 वर्ष निवासी ईटली कोरोना वायरस से पॉजीटिव पाए गए। उन्होंने उनके दल के बारे में पूरी जानकारी देते हुए बताया कि कॉरली 21 फरवरी  को नई दिल्ली एयरपोर्ट पर अपने 22 त्रियों के साथ इटली से भारत आया था। 28 फरवरी को एन्ड्री को तबीयत खराब होने पर फोर्टिस हॉस्पीटल जयपुर में भर्ती किया गया।  कोरोना संदिग्ध होने की दृष्टि से उन्हें 29 फरवरी को आइसोलेशन अस्पताल एसएमएस में भर्ती कराकर कर जांच की गई, जिसमें परिणाम नेगेटिव प्राप्त हुआ।


उन्होंने बताया कि कोरोना रोग की प्रारम्भिक जांच नेगेटिव होने पर अन्य रोग की सम्भावना को देखते हुए मेडिकल आईसीयू में स्थानातरित किया गया। स्थिति में सुधार नहीं होने पर पुनः कोरोना रोग की जांच की गई। दूसरी स्क्रीनिंग जांच में पॉजिटीव पाए जाने पर कन्फर्मेशन करने के लिए 2 मार्च को रक्त का नमूना भारत सरकार के गाइडलाइन के अनुसार पुणे लैब में भिजवाया गया, जोकि बाद में पॉजीटिव पाया गया। इनका उपचार एसएमएस अस्पताल में जारी है।